फ़िर याद
आज फ़िर उनकी याद आ गई
आँखों में नमी, और दिल की धड़कन
कुछ बढ़ी सी महसूस हुई।
सोचा, शायद उन्हे भी बेकरारी सी होगी;
पर, उनके खयालों से,
आँखों में नमी, और दिल की धड़कन
कुछ बढ़ी सी महसूस हुई।
सोचा, शायद उन्हे भी बेकरारी सी होगी;
पर, उनके खयालों से,
रंजिश न कम हुई।
होंठों पे उनका नाम,
होंठों पे उनका नाम,
न रखने की मजबूरी है;
वरना उनके नाम को रो लेते
ख्वाबों मे भी जो उम्मीद होती,
वरना उनके नाम को रो लेते
ख्वाबों मे भी जो उम्मीद होती,
उन्हे पाने की
तो दिल थाम, हम सो लेते।
ना आँखों मे नींद है,
शिकवा जो है हमसे,
तो दिल थाम, हम सो लेते।
ना आँखों मे नींद है,
न दिल ने सुकून पाया
पर वादा जो था तुझसे -
पर वादा जो था तुझसे -
कभी दूर न होगा तुमसे मेरा साया।
शिकवा जो है हमसे,
तो हमसे गिला करो
पर फक्त इसी बहाने से,
पर फक्त इसी बहाने से,
लेकिन हमसे मिला करो।
मिलते मिलते ही शायद,
मिलते मिलते ही शायद,
शिकवे दूर हो जाएँगे
शायद एक बार फ़िर हम,
शायद एक बार फ़िर हम,
आपकी आँखों के नूर हो जाएँगे।
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